रियल व्यू न्यूज, लखनऊ ।राज्यपाल आनंदी बेन पटेल ने कहा है कि गांवों में शहीद स्मारक बनाए जाएं और इन स्मारकों में शहीदों व स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों के नाम लिखे जाएं। शहीदों के संबंध में जानकारी प्रदान करने वाली पुस्तिकाओं का भी प्रकाशन किया जाए। उन्होंने शिक्षण संस्थानों में शहीदों की प्रतिमाएं स्थापित करने का भी सुझाव दिया, जिससे विद्यार्थियों को प्रेरणा मिल सके। शहीदों के परिजनों के सम्मान समारोह आयोजित किए जाएं। किसानों सहित ऐसे लोगों का भी सम्मान किया जाए, जिन्होंने गांव में सामाजिक विकास तथा शैक्षणिक उन्नयन आदि के लिए कार्य किया है।
राज्यपाल आनन्दीबेन पटेल की अध्यक्षता में बुधवार को यहां राजभवन में ‘चौरी-चौरा गोरखपुर शताब्दी समारोह’ के संबंध में गठित राज्य स्तरीय आयोजन समिति की बैठक की गई। राज्यपाल व मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ द्वारा संयुक्त रूप से ‘चौरी-चौरा शताब्दी महोत्सव’ के ‘लोगो’ का विमोचन किया गया। बैठक में ‘चौरी-चौरा शताब्दी समारोह’ की कार्य योजना के बारे में विचार-विमर्श हुआ।
हर गांव में बनें शहीद स्मारक, शहीदों और स्वतंत्रता सेनानियों के लिखे जाएं नाम : राज्यपाल
राज्यपाल ने कहा कि कार्ययोजना बनाकर ‘चौरी-चौरा शताब्दी समारोह’ पूरी भव्यता के साथ आयोजित किया जाए। यह आयोजन लोगों में राष्ट्र भक्ति और देश प्रेम की भावना जगाने में सहायक होगा। कार्यक्रम इस प्रकार आयोजित किए जाएं कि सभी को चौरी-चौरा की घटना तथा भारतीय स्वतंत्रता संग्राम के बारे में समग्र जानकारी प्राप्त हो सके। यह कार्यक्रम देश के लोगों में सुरक्षा, स्वाभिमान और स्वदेशी की भावना को और मजबूत करने का माध्यम बनेंगे। चौरी-चौरा की घटना पर ऐसा गीत तैयार किया जाए, जिससे इस घटना का सम्पूर्ण सन्देश जन-जन तक पहुंच सके।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि सन 1857 के स्वतंत्रता संग्राम से स्वातंत्र्य समर का शुभारम्भ हुआ। देश के स्वाधीनता आन्दोलन में सन 1922 की चौरी-चौरा की घटना महत्वपूर्ण कड़ी बनी। इसी प्रकार, काकोरी एवं अन्य घटनाओं ने भी स्वतंत्रता आन्दोलन को दिशा देते हुए सन 1947 में भारत को आजाद कराया। ‘चौरी-चौरा शताब्दी समारोह’ 4 फरवरी से लेकर 4 फरवरी 2022 तक आयोजित होगा। चौरी-चौरा की घटना का शताब्दी वर्ष समारोह शहीदों व स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों के प्रति श्रद्धा निवेदित करने का अवसर है। उन्होंने कहा कि ‘चौरी-चौरा शताब्दी समारोह’ के अवसर पर संचार मंत्रालय, भारत सरकार से डाक टिकट जारी करने का अनुरोध किया गया है।
उप मुख्यमंत्री डा. दिनेश शर्मा ने कहा कि ‘चौरी-चौरा शताब्दी समारोह’ के दौरान चौरी-चौरा प्रसंग का व्यापक प्रचार-प्रसार सुनिश्चित किया जाए। विश्वविद्यालयों में इससे सम्बन्धित शोध कार्य को बढ़ावा दिया जाए। अज्ञात शहीदों के योगदान को भी उजागर करते हुए, उनके परिजनों को सम्मानित करने का कार्य किया जाना चाहिए। पर्यटन एवं संस्कृति राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) डा. नीलकंठ तिवारी ने ‘चौरी-चौरा शताब्दी समारोह’ के कार्यक्रमों के संबंध में रूपरेखा प्रस्तुत करते हुए विस्तृत जानकारी दी।
रिपोर्ट - शिवशंकर दूबे
खुटहन ( जौनपुर) । सामाजिक संस्था कमला प्रसाद मेमोरियल ट्रस्ट द्वारा बुधवार को दौलतपुर गांव में समारोह आयोजित कर साहित्यकार और...
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